2024 में रामपुर उपमंडल के रचोली में एक नाबालिग से दुष्कर्म करने वाले दोषी को अदालत ने 20 साल की सजा और दो हजार रुपये की सजा सुनाई है।
शिमला जिले के रामपुर उपमंडल के रचोली में वर्ष 2024 में नाबालिग से दुष्कर्म करने वाले दोषी को अदालत ने 20 साल का कठोर कारावास और दो हजार जुर्माने की सजा सुनाई है। पीड़िता को सरकार की चलाई जा रही योजना के तहत दो लाख रुपये का मुआवजा देने का भी आदेश दिया है। रामपुर स्थित अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायालय (पॉक्सो कोर्ट) किन्नौर की अदालत ने बुधवार को आरोपी नानक चंद (40) निवासी गांव रचोली, तहसील रामपुर, जिला शिमला को भारतीय न्याय संहिता और पॉक्सो अधिनियम की विभिन्न धाराओं के तहत सजा सुनाई। उप जिला न्यायवादी कमल चंदेल ने बताया कि 12 अक्तूबर 2024 को 11 साल की बच्ची अपने घर में अकेली थी। उसके माता-पिता कहीं काम पर गए हुए थे। रात करीब 11 बजे पड़ोसी तपेंद्र बहादुर और उसकी पत्नी ने पीड़िता के घर से चिल्लाने की आवाजें सुनीं, जिस पर दोनों ने जाकर दरवाजा खोला तो देखा कि आरोपी पीड़िता के साथ दुष्कर्म कर रहा था।
उनके पूछने पर पीड़िता ने बताया कि आरोपी शराब पीकर 7:30 बजे शाम को उसके कमरा में आया और उसके साथ गलत काम करने लगा। इस बीच आरोपी वहां से भाग गया। अगली सुबह पीड़िता के माता-पिता के घर आने पर थाना रामपुर में आरोपी के खिलाफ शिकायत दर्ज करवाई गई और आरोपी को गिरफ्तार किया, जोकि अभी तक भी जेल में बंद है। ट्रायल के दौरान 20 गवाहों के साक्ष्य दर्ज किए गए। सभी साक्ष्यों, एसएफएसएल रिजल्ट और विशेष लोक अभियोजक की ओर से प्रस्तुत की गई दलीलों के आधार पर अदालत ने आरोपी के खिलाफ लगाए गए आरोप सही पाए और उसे 20 साल के कठोर कारावास की सजा सुनाई। अदालत ने पीड़िता को दो लाख रुपये का मुआवजा सरकार की ओर से चलाई जा रही योजना के तहत देने का आदेश भी दिया। सरकार की ओर से मुकदमे की पैरवी उप जिला न्यायवादी कमल चंदेल ने की।
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