युवक ने प्रेमिका की शादी पर फंदा लगाया

                        युवक ने प्रेमिका की शादी होने पर फंदा लगाया, मोबाइल पर वीडियो बनाया

मंडी , ब्यूरो रिपोर्ट

24 वर्षीय एक व्यक्ति ने प्रेमिका की शादी होने से आहत होकर अपने घर में फंदा लगाकर आत्महत्या कर दी। युवक ने घटना को अपने मोबाइल पर वीडियो बनाया। युवक ने इस वीडियो में फंदा लगाने की पूरी घटना बताया है, लेकिन उसने ऐसा कदम उठाने के बारे में कुछ नहीं कहा है। यह मामला मंगलवार सुबह 10 बजे धर्मपुर के चलाल गांव में पेश आया था। 


सूचना मिलने पर पुलिस ने युवक का शव, मोबाइल समेत पकड़ लिया है। पुलिस जांच अभी भी जारी है। चलाल गांव के विकास भारद्वाज पुत्र शेर सिंह एक वर्ष पहले जल शक्ति विभाग में आउटसोर्स कर्मी था, लेकिन उसे कुछ महीने पहले ही निकाल दिया गया था। निजी वाहनों का ड्राइविंग भी विकसित हुआ। वह मंगलवार सुबह घर में अकेला था, जबकि उसके परिजन हर दिन की तरह अपने काम पर चले गए। 

उस समय, पंखे की कुंडी से अपने कमरे में रस्सी का फंदा बनाकर उसने आत्महत्या कर ली। सुबह 10 बजे की घटना है। वह दोपहर करीब डेढ़ बजे घर पहुंची तो बेटे को फंदे पर लटका देखा।    शोर मचने पर घरवाले और महिलाएं मौके पर पहुंचे और उसे दराटी से काटकर अस्पताल ले गए। जहां डॉक्टरों ने उसे मर चुका बताया था। सूचना मिलने पर पुलिस ने मौके पर पहुंचकर शव को कब्जे में लेकर सरकाघाट पोस्टमार्टम के लिए भेजा। पुलिस ने घटनास्थल पर जाकर साक्ष्य लिया। 

पुलिस ने घरवालों से पूछताछ की तो पता चला कि युवक का पंजाब की एक युवती से प्रेम संबंध था। परीक्षण से पता चला कि उस युवती की शादी मंगलवार को हुई थी।  उसने इससे आहत होकर यह कदम उठाया। युवक के मोबाइल से पहले ब्लेड से नस काटने का वीडियो पुलिस को मिला है। युवक के पिता चालक हैं, जबकि माता आउटसोर्स सफाई कर्मचारी हैं सिविल अस्पताल धर्मपुर में। उधर, धर्मपुर थाना प्रभारी राकेश धीमान मामले की जांच कर रहे हैं, डीएसपी सरकाघाट संजीव गौतम ने बताया। 

मामले के हर पहलू को देखते हुए जांच की जा रही है। विकास दो बहनों में से एक था। एक बहन विवाहिता है और एक अविवाहित है। स्थानीय पंचायत प्रधान डोली देवी ने बताया कि विकास एक मिलनसार युवा था और किसी के कहने पर काम करने को तैयार हो जाता था। इस तरह की कार्रवाई करना हैरानीजनक है। विकास अपनी छोटी बहन के विवाह से पहले अपने घर में एक और मंजिल बनाना चाहता था। इसके लिए इन दिनों काम भी किया गया है, लेकिन परिजन इस बदलाव से सदमे में हैं और रो रहे हैं। बुढ़ापे के सहारे विकास के इस तरह चले जाने से माता-पिता दुखी और यकीनहीन हो जाते हैं।

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