रानी को क्वीन के सामने लड़ाने की तैयारी

                            "क्वीन" के सामने रानी को लड़ाने की तैयारी, राजनीतिक हलचल

शिमला , ब्यूरो रिपोर्ट 

हिमाचल प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष प्रतिभा सिंह को ही मंडी संसदीय सीट से दोबारा चुनाव लड़ाने की कोशिश ने जोर पकड़ लिया है। उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री की अध्यक्षता में एक कमेटी, जो राजनीतिक और आर्थिक मुद्दों को देखने के लिए बनाई गई है, भी प्रतिभा सिंह को मनाने के हक में है। आंतरिक सर्वे में भी प्रतिभा सिंह को मंडी का सबसे अच्छा प्रत्याशी बताया गया है। 


भाजपा द्वारा कंगना का टिकट घोषित होने के बाद कांग्रेस ने प्रतिभा का प्रचार शुरू कर दिया है। सूत्रों ने बताया कि प्रतिभा ने पिछले डेढ़ साल में मंडी संसदीय क्षेत्र, जो किन्नौर, लाहौल-स्पीति, कुल्लू, शिमला और चंबा में फैला हुआ है, का कई बार दौरा किया है। वह हर जगह जानते हैं। ऐसे में उन्हें किसी नए प्रत्याशी की जगह लेना चाहिए। अब तक हुए 20  चुनावों में कांग्रेस 14 बार, भाजपा पांच बार और जनता पार्टी एक बार जीती है। यहां से प्रतिभा और पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र तीन बार विजयी हुए हैं। शिमला में सोमवार देर शाम हुई बैठक में भी प्रतिभा को बुलाने पर ही समझौता हुआ। वीरभद्र बुशहर रियासत का राजा था। 

प्रतिभा को रानी साहिबा नाम दिया जाता है। वीरभद्र की मृत्यु के बाद विक्रमादित्य राजतिलक हुआ। रियासती मान्यताओं के अनुसार, प्रतिभा ने बुशहर रियासत की राजमाता की भूमिका निभाई है।   क्वीन कंगना रणौत, जो बॉलीवुड में अपनी अदाकारी से सबका दिल जीत लेती है, के राजनीतिक डेब्यू से सियासी पारा चढ़ गया है। कंगना को मंडी से भाजपा का टिकट मिलने के बाद, कांग्रेस के साथ भाजपाई भी सकते में हैं। इस फैसले से कई भाजपा नेता, जो कई दशकों से टिकट की उम्मीद कर रहे थे, अंदरखाते नाराज हैं। भाजपा से टिकट के दावेदार महेश्वर सिंह ने अपना असंतोष व्यक्त किया है। 

साथ ही, टिकट की दौड़ में बिग्रेडियर खुशाल, पूर्व उम्मीदवार भी हैं।  टिकट मिलने के पहले दिन ही, कंगना ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और राष्ट्रवादी विचारधारा का अनुसरण करते हुए भाजपा के नेताओं, कार्यकर्ताओं और पदाधिकारियों से मुलाकात कर उनसे मार्गदर्शन मांगा और एकजुट होकर आगे बढ़ने की बात कही। कंगना ने सक्रिय रूप से कांग्रेस को घेरा और सुप्रिया गांधी पर बेबाकी से पलटवार करते हुए पार्टी नेतृत्व को हिला दिया। 2006 में गैंगस्टर फिल्म से डेब्यू करने वाली कंगना की यात्रा बहुत मुश्किल रही है। विपरीत हालात में भी कंगना ने अपनी प्रतिभा का लोहा बड़े पर्दे पर मनवाया है।

 उनका सियासी डेब्यू कठिन होगा। मोदी लहर के बहाने राजनीतिक जगह खोजने के लिए मंडी पहुंची हैं। कांग्रेस बुधवार को चंडीगढ़ में एक बैठक करेगी, जिसका उद्देश्य प्रदेश सरकार और संगठन में समन्वय बनाना होगा। प्रदेश प्रभारी राजीव शुक्ल की अध्यक्षता में होने वाली बैठक में लोकसभा और विधानसभा उपचुनावों में भाग लेने की रणनीति बनाई जाएगी। मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष प्रतिभा सिंह, उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री, पूर्व मंत्री कौल सिंह ठाकुर, रामलाल ठाकुर और मंत्री धनीराम शांडिल इसमें शामिल होंगे। सरकार और संगठन के बीच चल रहे मतभेदों को बैठक में दूर किया जाएगा।

 उत्तर भारत में कांग्रेस की एकमात्र सरकार को बचाने के लिए सभी नेताओं को एकजुटता का संदेश देते हुए मजबूती से चुनाव मैदान में उतरने का पाठ पढ़ाया जाएगा।  स्थानीय नेता और विधायक अभी भी उनका समर्थन कर रहे हैं। इसके बावजूद, उनकी राह पर बहुत सारे कांटे देखने को मिल सकते हैं। स्टार अभिनेत्री होना भी उनके लिए कई चुनौतियों को जन्म देगा, लेकिन अंततः यह उनके लिए अच्छा साबित होगा। उन्हें बॉलीवुड अभिनेत्री होने के कारण हर कोई जानता है, लेकिन वह कितने लोगों को जानती है?  कांग्रेस ने अभी तक मंडी में अपनी चुनावी भूमिका स्पष्ट नहीं की है। वर्तमान सांसद प्रतिभा सिंह ने पहले ही चुनाव लड़ने से इनकार कर दिया है। कौल सिंह ठाकुर भी बोल नहीं रहे हैं। अब यह देखना होगा कि पार्टी प्रमुख प्रतिभा को मना लेता है या किसी नए को चुनता है। 

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